निशुल्क दंत परीक्षण शिविर एवं तम्बाकू , सेवन के दुष्परिणाम पर परिचर्चा आयोजित

RAKESH SONI

निशुल्क दंत परीक्षण शिविर एवं तम्बाकू , सेवन के दुष्परिणाम पर परिचर्चा आयोजित

बैतुल। राष्ट्रीय तम्बाकू नियंत्रण कार्यक्रम के अंतर्गत तम्बाकू निषेध पखवाड़े के तहत् 31 मई से 15 जून तक स्वास्थ्य विभाग द्वारा विभिन्न गतिविधियों का आयोजन किया जा रहा है। सोमवार को शासकीय प्राथमिक शाला हमलापुर बैतूल में नि:शुल्क दंत रोग परीक्षण शिविर आयोजित किया गया साथ ही तंबाकू सेवन दुष्परिणाम संबंधी चर्चा भी आयोजित की गयी।

 जिला मीडिया अधिकारी श्रीमती श्रुति गौर तोमर द्वारा बताया गया कि तंबाकू का सेवन स्वास्थ्य के लिए अत्यंत हानिकारक है। इससे फेफडों के केंसर होने का सबसे ज्यादा खतरा रहता है। तंबाकू में क्रोमियन, आर्सेनिक, निकोटिन आदि तत्व बहुत अधिक मात्रा में पाये जाते है, जिससे शरीर को नुकसान होता है। तंबाकू के सेवन से कई प्रकार की हानियां होती हैं। इससे तनाव, थकान, भुख न लगना, सांस लेने में परेशानी, केसंर का खतरा, नींद ठीक से न आना, गले से जुडी समस्या होती है। नशे की आदत को छोडने हेतु मन की इच्छा शक्ति को दृढ़ करना होगा। नशामुक्ति केन्द्रों की मदद लेकर, चिकित्सकीय विधियों का सहारा लेकर, व्यस्त रहकर, ध्यान करके और एन्टी ऑक्सीडेन्ट से भरपूर चीजों को भोजन में शामिल कर सफल हुआ जा सकता है।

दंत चिकित्सक एवं राष्ट्रीय तंबाकू नियंत्रण कार्यक्रम नोडल अधिकारी डॉ. तुशांशु सोनी नें बताया कि दांतों की सफाई के लिए दिन में दो बार ब्रश करना अत्यंत आवश्यक हैं। हर खाने के पश्चात कुल्ला करना चाहिये। मुंह की सफाई रखना चाहिये। किसी भी प्रकार की दांतों संबंधी तकलीफ के लिए दंत चिकित्सक से सलाह लेनी चाहिये। युवा वर्ग को नशे की लत से दूर रहना चाहिये। नशा हानिकारक एवं जानलेवा साबित हो सकता है । तंबाकू, खैनी एवं गुटखे से मुंह का कैंसर हो सकता है। नशे के कारण घर और समाज बरबाद हो रहे हैं । नशा हंसते-खेलते जीवन को तहस नहस कर देता हैं। इंसान अपना मानसिक संतुलन खो देता हैं। नशे से फेफडों, गुर्दो पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। नशे से बचने के लिए नशे से दूर रहना चाहिये और युवाओं को जागरूक करना चाहिये।

शिविर में दंत चिकित्सक डॉ. तुशांशु सोनी, डॉ. सांई श्री हर्षा एवं डॉ सायमा रिजवी द्वारा 124 महिला, पुरूष एवं बच्चों का दंत परीक्षण किया गया। जिसमेे से 3 टूथ फ्रेक्चर, 53 डेंटल केरीज, 22 जिंजीवाइटिस एवं 46 पेरियोडोन्टाइटिस के मरीज सम्मलित रहे। मरीजों को आवश्यकतानुसार दवाईयां वितरित कर जिला चिकित्सालय बैतूल में उपचार कराने हेतु परामर्श दिया गया। इस अवसर पर पार्षद श्रीमती किरण खातरकर, शहरी क्षेत्र एएनएम श्रीमती मीना शेषकर, एएनएम श्रीमती मोना पवार, आशा कार्यकर्ता श्रीमती रेखा झरबडे, श्रीमती मुक्ता पवार, श्रीमती कंचन घोरसे सहित अन्य उपस्थित रहे।

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