भय और न्याय एक साथ नही चल सकते :- ताहेड

RAKESH SONI

भय और न्याय एक साथ नही चल सकते :- ताहेड

आमला। भय और न्याय एक साथ नही चल सकते जहां न्याय है वहां भय नही और जहां भय है वहाँ न्याय नही हो सकता उक्त आशय के विचार न्यायधीश एन एस ताहेड ने अपने स्थानांतरण पर आयोजित बिदाई समारोह में व्यक्त किये।न्यायालय प्रांगण में आयोजित इस कार्यक्रम में विशेष अतिथि के तौर पर न्यायधीश रीना पिपल्या उपस्थित थी।कार्यक्रम में वी के पालीवाल स्टेशन प्रबंधक रेल्वे आमला,आर के बनकर थाना इंचार्ज आर पी एफ रेल्वे आमला,ए आर धोटे कल्याण निरीक्षक रेल्वे आमला,मनोज वाधवा समाजसेवी,अनिल पटेल सोनी अध्यक्ष लायन्स क्लब सार्थक आमला,देवेंद्र राजपूत प्रमुख श्री महावीर हनुमान गौशाला समिति आमला,राम प्रसाद पवार अध्यक्ष पेंशनर एशोसिएशन आमला,पत्रकार दिलीप चौकीकर,वरिष्ठ अधिवक्ता अभय गर्ग,अधिवक्ता रानी शेख,अधिवक्ता हरिशंकर पाल आदि उपस्थित थे।कार्यक्रम का मंच संचालन मनोज विश्वकर्मा ने किया।कार्यक्रम में उपस्थित अतिथियों ने न्यायधीश एस एन ताहेड के कार्यो की सराहना की ओर कहा कि आमला के न्यायालयीन इतिहास में श्री ताहेड जी को हमेशा याद किया जावेगा इनके द्वारा तमाम जनकल्याणकारी कार्य करवाये गए कोरोना काल मे इनके द्वारा बहुत से जन हितैषी कार्य करवाये गए।साथ ही न्यायालय परिसर में रक्त दान शिविर का भी आयोजन इन्होंने करवाया था।

   कार्यक्रम में बड़ी संख्या में व्यापारी गण,प्रबुद्धजन,नागरिक गण आदि उपस्थित थे।कार्यक्रम में न्यायालय के गणेश पंडोले, चंद्रभान नागले, संतोष कोकोडे, शीतल कवड़े, होलिका धुर्वे, राजेंद्र नागले, लतीफ खान, ज्ञानप्रकाश तवरे, कुंतल भावसार, माया धुर्वे, नितिन विश्वकर्मा, संजय राठौर आदि उपस्थित थे।कार्यक्रम के अंत मे आभार प्रदर्शन एडवोकेट हरिशंकर पाल और एडवोकेट रानी शेख ने किया।

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