कोटपा एक्ट के उल्लंघनकर्ताओं पर चालानी कार्रवाई l
साफ -सफाई नहीं पाए जाने पर कैफे बंद l
बैतूल। राष्ट्रीय तंबाकू नियंत्रण कार्यक्रम के तहत सोमवार 27 मार्च को शहरी क्षेत्र बैतूल में कोटपा एक्ट 2003 के उल्लंघनकर्ताओं पर चालानी कार्रवाई की गई तथा खाद्य सुरक्षा अधिकारी द्वारा साफ सफाई नहीं पाये जाने पर कैफे बंद किया गया। जिला स्तरीय जांच एवं निगरानी दल (इन्फोर्समेंट स्कवाड) द्वारा कोटपा एक्ट 2003 की धाराओं का उल्लंघन करने पर शहरी क्षेत्र बैतूल में 8 व्यक्तियों पर कुल 1600 रुपए की चालानी कार्रवाई की गई। कार्रवाई में नोडल अधिकारी राष्ट्रीय तंबाकू नियंत्रण कार्यक्रम डॉ. तुशांशु सोनी, जिला मीडिया अधिकारी श्रीमती श्रुति गौर तोमर, एसआई श्री रवि ठाकुर सहित अन्य सम्मिलित रहे।
कार्रवाई के दौरान सिगरेट और अन्य तम्बाकू उत्पाद अधिनियम (कोटपा) 2003 धारा 4 के अंतर्गत आमजन को समझाइश दी गई कि सार्वजनिक स्थानों पर धूम्रपान प्रतिबंधित है और इन स्थानों पर धूम्रपान करने वाले लोगों पर 200 रूपये तक जुर्माने का प्रावधान है। घारा 5 के अंतर्गत तम्बाकू उत्पादों के प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष दोनों तरह के विज्ञापनों पर प्रतिबंध है। धारा 6 की जानकारी देते हुये बताया गया कि 18 वर्ष से कम आयु के बच्चों द्वारा किसी भी प्रकार के तम्बाकू पदार्थ को खरीदना व बेचना अपराध है। किसी भी सामान बेचने वाली दुकान पर तम्बाकू पदार्थो का प्रदर्शन प्रतिबंधित है। तम्बाकू पदार्थों की वेंडिंग मशीनों द्वारा ब्रिकी प्रतिबंधित है। विद्यालय से 300 फीट (100 गज) की दूरी तक तम्बाकू उत्पादों का उपयोग, क्रय एवं विक्रय प्रतिबंधित है। धारा 7 के अंतर्गत प्रत्येक तम्बाकू उत्पाद पर चित्रात्मक स्वास्थ्य चेतावनी होनी चाहिये। यह चेतावनी हर 12 महीनों में बदली जायेगी। तंबाकू एवं तंबाकू के विभिन्न उत्पाद जैसे गुटका, पाउच, बीड़ी, सिगरेट, खैनी, नस मंजन आदि के सेवन से स्वास्थ्य पर पडऩे वाले दुष्प्रभावों के बारे में आमजन को जानकारी भी प्रदाय की गई। तम्बाकू से होने वाले घातक प्रभावों एवं प्रमुख बीमारियों के बारे में अवगत कराया गया, नशामुक्ति अभियान संबंधी महत्वपूर्ण संदेश दिये गए।
खाद्य सुरक्षा अधिकारी श्री संदीप पाटिल द्वारा शहरी क्षेत्र बैतूल स्थित चाह-टू कैफे में साफ सफाई नहीं पायी गई। कैफे को साफ सफाई किये जाने तक बंद करने के निर्देश दिये गये।