साहित्य संगोष्ठी की श्रृंखला का शुभारंभ,साहित्य समाज का दर्पण है:-राजेन्द्र शर्मा
सारनी। साहित्य समाज का दर्पण है , यह हमारी अवधारणा है। दर्पण, जो जैसा है उसको वैसा ही दिखाता है। साहित्यकार की कोशिश यही होनी चाहिए कि समाज की जो स्थिति है वह उसके साहित्य में दिखे। साहित्य का काम केवल यथास्थिति का वर्णन करना ही नहीं है अपितु समाज कैसा होना चाहिए इस दिशा में भी प्रयत्न होना चाहिए। उक्त विचार दैनिक “स्वदेश” भोपाल के संपादक एवं वरिष्ठ पत्रकार राजेन्द्र शर्मा ने संस्कार भारती मध्यभारत प्रांत की भोपाल महानगर इकाई द्वारा आयोजित ऑनलाइन साहित्य संगोष्ठी का शुभारंभ करते हुए व्यक्त किए। श्री शर्मा ने कहा कि जो साहित्य अपने समाज और संस्कृति को मजबूती प्रदान नहीं करता, संस्कृति के संवर्धन में योगदान नहीं देता ,जो साहित्य समाज को संस्कारित करने का कार्य नहीं करता तथा क्या है और क्या होना चाहिए, इसका विचार नहीं करता वह अपने साहित्य का वास्तविक स्वरूप प्रस्तुत नहीं कर पाता। समाज के प्रति जो दायित्व है, उसका ठीक से निर्वाह नहीं कर पाता।इससे पूर्व राजेन्द्र शर्मा प्रधान संपादक स्वदेश, भोपाल एवं अरुणा शर्मा ने दीप प्रज्ज्वलित किया। तत्पश्चात् अजय विश्वरूप ने संस्कार भारती के ध्येय गीत की प्रस्तुति दी । संगोष्ठी में प्रथम पुस्तक परिचय कुंदा जोगलेकर ने वरिष्ठ साहित्यकार श्रीमती मालती जोशी की पुस्तक से दिया।
द्वितीय पुस्तक परिचय अवधेश चंसोलिया ने भावुक जी द्वारा लिखित पुस्तक भवभूति (उपन्यास)का दिया। कार्यक्रम की प्रस्तावना संस्कार भारती मध्य भारत प्रान्त की प्रान्तीय साहित्य विधा प्रमुख कुमकुम गुप्ता ने दिया। आन लाइन कार्यक्रम का संचालन एवं आभार दुर्गा मिश्रा ने किया। इस कार्यक्रम से वरिष्ठ एवं नवोदित साहित्यकार बड़ी संख्या में जुड़े । संस्कार भारती मध्य भारत प्रांत की मंत्री संगठन अनिता करकरे ने बताया कि
प्रत्येक शनिवार को संस्कार भारती द्वारा नवोदित रचनाकारों में लेखन व वक्तृत्व कला-कौशल को विकसित करने की दृष्टि से साहित्य संगोष्ठी का आयोजन किया जाएगा , जिसमें पुस्तक परिचय और वरिष्ठ साहित्यकारों का मार्गदर्शन प्राप्त होता है। इस अवसर पर संस्कार भारती सारनी ईकाई के अध्यक्ष अंबादास सूने, साहित्य विधा प्रमुख राजेन्द्र प्रसाद तिवारी , संतोष प्रजापति, दीपक वर्मा, मनीष चौहान , साहित्यकार सुनीता यादव , अनीता तिवारी , सुमन ओबेराय एवं मोतीलाल कुशवाह प्रांतीय सह महामंत्री भी उपस्थित थे ।